✍️आकांक्षा राय
यू लिपट कर तेरे आँचल से
भारत माँ हम सरहद काे
सँभालते हैं
दे कर लहू का बलिदान
हम देश को सवारते हैं
यू तो हाेंगे बहुत से लाल तेरे
पर हम वाे लाल हैं
जाे हर कर्ज का
फ़र्ज़ चुकाते हैं
यू लिपट कर तेरे आँचल से
भारत माँ हम सरहद काे सँभालते हैं
हम कश्मीर से कन्याकुमारी
तक तेरे अभिमान का
परचम फहराते हैं
यू लिपट कर तेरे आँचल से
भारत माँ हम सरहद काे सँभालते हैं
जान को हथेली पर रख
पुरे विश्व में तेरे
स्वाभिमान काे सवारते हैं
यू लिपट कर तेरे आँचल से
भारत माँ हम सरहद काे सँभालते हैं
रख कर तेरी गाेद में सिर
हम अपने जिंदगी काे निखारते हैं
यू लिपट कर तेरे आँचल से
भारत माँ हम सरहद काे सँभालते हैं
हमें फक्र है की तु हमारी
माता हैं
हम जन्मे यहाँ
भारत हमारा भाग्य विधाता है
इस देश के कड़ कड़ में
हिंदुस्तान समाता हैं
यू लिपट कर तेरे आँचल से
भारत माँ हम सरहद काे सँभालते हैं|
*सुहवल ,गाजीपुर
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