✍️निहाल चन्द्र शिवहरे
कैसे  जाँऊ   मैं   सावन   में पीहर        
चहूँ  ओर  फैला  कोरोना का  डर        
रेल ,बस  हैं बंद  कैसे   करें सफर       
रहोगे सुरक्षित न छोड़ो अपना घर       
अमिया की डार पै सखियों के संग      
सावन की ऋतु  में झूले सी   उमंग      
तालाबों  में  बालक   करें   हुड़दंग     
छोटू  न  करेगा बुआजी को    तंग      
कोरोना  काल  मजबूर  है  बहना            
भाई  कहे न मन चाहे  जो कहना             
ई राखी  वाट्सएप  पर भेज  देना           
रहेगी  ई  राखी  की चमक बहना       
*झाँसी
अपने विचार/रचना आप भी हमें मेल कर सकते है- shabdpravah.ujjain@gmail.com पर।
साहित्य, कला, संस्कृति और समाज से जुड़ी लेख/रचनाएँ/समाचार अब नये वेब पोर्टल शाश्वत सृजन पर देखे- http://shashwatsrijan.com
यूटूयुब चैनल देखें और सब्सक्राइब करे- https://www.youtube.com/channel/UCpRyX9VM7WEY39QytlBjZiw

0 टिप्पणियाँ