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नवरातों का संदेश (कविता)




*प्रो.शरद नारायण खरे* 


नवरातें कहती हैं मुझसे,
नारी का सम्मान हो
बेटे से कम नहीं है बेटी,
बेटी पर अभिमान हो ।

नारी किंचित नहीं है दुर्बल,
सचमुच वह बलवान है
नारी से ही रौनक घर की,
नारी से ही आन है

नारी को तो पूजा जाये,
पूरा हर अरमान हो
बेटे से कम नहीं है बेटी,
बेटी पर अभिमान हो ।

नारी से ही बरकत होती,
नारी से उत्थान है
नारी से गृह बगिया सजती,
नारी से ही मान है

नवरातें कहती हैं सबसे,
नारी का गुणगान हो
बेटे से कम नहीं है बेटी,
बेटी का जयगान हो ।


प्रो.शरद नारायण खरे ,मंडला(मप्र)-481661,मो.9425484382




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